राजधानी देहरादून के पुरानी जिला अदालत की खाली जमीन पर चैंबर निर्माण की मांग को लेकर अधिवक्ता लंबे समय से प्रदर्शन कर रहे है। ऐसे में शुक्रवार को संघर्ष समिति बार एसोसिएशन के अध्यक्ष और बार एसोसिएशन देहरादून के अध्यक्ष के नेतृत्व में संगठन के पदाधिकारी ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मुलाकात की। मुलाकात के दौरान अधिवक्ताओं के प्रतिनिधिमंडल ने नए जिला न्यायालय परिसर में अधिवक्ताओं के लिए आवंटित भूमि पर और पुराने जिला जजी परिसर की भूमि अधिवक्ताओं के पक्ष में आबंटित करने के साथ ही दोनों स्थानों पर सरकार की ओर से अधिवक्ताओं के चैंबरों के निर्माण कराए जाने को लेकर ज्ञापन सौंपा।
अधिवक्ताओं के ज्ञापन पर मुख्यमंत्री ने संगठन के पदाधिकारियों को आश्वासन दिया कि उनकी समस्याओं के समाधान के लिए राज्य सरकार प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि आपसी वार्तालाप और विचार-विमर्श से ही समस्याओं का समाधान हो सकता है। सीएम धामी ने कहा कि उत्तराखंड के विकास में हम सबको सहयोगी बनना होगा। राज्य आंदोलन के वे खुद भी साक्षी रहे हैं, इसमें अधिवक्ताओं का भी योगदान रहा है। ऐसे में हम सभी को राज्य के वित्तीय संसाधनों पर भी ध्यान देना होगा।
सीएम ने अधिवक्ताओं से अपना आंदोलन समाप्त करने की अपेक्षा करते हुए कहा कि इस संबंध में समस्याओं के त्वरित समाधान के लिए प्रशासन और अधिवक्ताओं की समिति गठित की जाए। इसमें किसी आर्किटेक्ट को भी शामिल कर कोई सर्वमान्य हल निकल जाने के प्रयास किए जाएं। सीएम ने कहा कि इस संबंध में जिलाधिकारी की ओर से प्रस्तुत आख्या और समस्याओं के समाधान से संबंधित बिंदुओं को कैबिनेट में रखते हुए उचित निर्णय लिया जाएगा। साथ ही सीएम ने प्रतिनिधि मंडल को आश्वासन दिया कि अधिवक्ताओं के चैंबर निर्माण के लिए राज्य सरकार भी आर्थिक सहयोग करेगी।
यही नहीं, सीएम धामी ने अधिवक्ताओं से सांसदों और विधायको से भी सहयोग मांगने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि इस संबंध में वे खुद भी पहल करेंगे। मुख्यमंत्री के आश्वासन के बाद सभी पदाधिकारी संतुष्ट नजर आए और मुख्यमंत्री का आभार भी जताया। बता दे की अधिवक्ता लंबे समय से अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे थे, उनकी मुख्य मांग है कि जिला कोर्ट के पुराने परिसर में उन्हें चेंबर निर्माण के लिए भूमि दी जाए। इसके अलावा नए न्यायालय परिसर में चेंबर निर्माण के लिए भूमि दी जाए। हालांकि, इन मांगों को लेकर अधिवक्ताओं की देहरादून जिलाधिकारी से पहले भी कई दौर की वार्ता भी हो चुकी है।

