अध्यक्ष और प्रमुखों का चुनाव प्रक्रिया एक हफ्ते में हो सकता है पूरा, आरक्षण मिलते ही जारी होगी चुनावी अधिसूचना। 

उत्तराखंड शासन उत्तराखण्ड चुनाव

उत्तराखंड त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के पहले चरण की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। प्रधान ग्राम पंचायत, ग्राम पंचायत सदस्य, क्षेत्र पंचायत सदस्य और जिला पंचायत सदस्यों के लिए मतदान से लेकर मतगणना की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। ऐसे में अब अध्यक्ष और प्रमुख पदों के लिए चुनाव होना है जिसकी तैयारी में राज्य निर्वाचन आयोग जुट गया है। हालांकि, पंचायती राज विभाग की ओर से जिला पंचायत अध्यक्ष के सीटों के आरक्षण की अनंतिम सूची भी जारी कर दी है। ऐसे में 6 अगस्त को जिला पंचायत अध्यक्ष के आरक्षण की अंतिम प्रकाशन होने के बाद राज्य निर्वाचन आयोग, चुनाव की दिशा में आगे बढ़ेगी।

उत्तराखंड राज्य में हरिद्वार जिला छोड़ बाकी प्रदेश के 12 जिलों में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की प्रक्रिया संपन्न हो गई है। एक अगस्त को चुनावी नतीजे जारी होने के साथ ही राज्य निर्वाचन आयोग ने आचार संहिता भी हटा दी है। इसके साथ ही राज्य निर्वाचन आयोग जिला पंचायत अध्यक्ष और ब्लॉक प्रमुख के चुनाव की तैयारियों में जुट गया है। हालांकि, उत्तराखंड शासन से आरक्षण का प्रस्ताव मिलने के बाद राज्य निर्वाचन आयोग चुनाव की दिशा में आगे बढ़ जाएगी। हालांकि, संभावना जताई जा रही है कि 6 अगस्त को आरक्षण का अंतिम प्रकाशन होने के बाद आरक्षण प्रस्ताव चुनाव आयोग को सौंप देगा।

उत्तराखंड राज्य के 12 जिलों में जिला पंचायत अध्यक्ष पदों पर चुनाव होने है इसके साथ ही ब्लॉक प्रमुख के 89 सीटों पर चुनाव होने है। हालांकि, पंचायती राज विभाग की ओर से ब्लॉक प्रमुख के सीटों का आरक्षण पहले ही तय किया जा चुका है। तय किए गए आरक्षण के अनुसार, 36 सीटों को अनारक्षित, 28 सीटों को सामान्य महिला, 12 सीटों को अनुसूचित जाति महिला, 5 सीटों को ओबीसी महिला, 4 सीटों को अनुसूचित जाति, 3 सीटों को अनुसूचित जनजाति महिला और एक सीट ओबीसी के लिए आरक्षित किया गया है।

उत्तराखंड सरकार 15 अगस्त से पहले जिला पंचायत अध्यक्ष और ब्लॉक प्रमुख के चयन की दिशा में काम कर रही है। यही वजह है कि 1 अगस्त को पंचायत चुनाव के मतों की गणना संपन्न होने के बाद आचार संहिता हटते ही पंचायती राज विभाग में आरक्षण प्रस्ताव जारी कर दिया। पंचायती राज विभाग में एक अगस्त की शाम को जिला पंचायत अध्यक्ष सीटों पर आरक्षण तय करते हुए अनंतिम सूची जारी करती है साथ ही लोगों से आपत्तियां भी मानी है। ऐसे भी आपत्तियों का निस्तारण करते हुए 6 अगस्त को जिला पंचायत अध्यक्ष सीटों का फाइनल आरक्षण प्रस्ताव जारी कर दिया जाएगा।

राज्य निर्वाचन आयोग से मिली जानकारी के अनुसार, जिला पंचायत अध्यक्ष और ब्लॉक प्रमुख के चुनाव में लगभग एक हफ्ते का वक्त लगने की संभावना है। क्योंकि साल 2019 में हुए पंचायत चुनाव के दौरान एक हफ्ते में जिला पंचायत अध्यक्ष और ब्लॉक प्रमुख के चुनाव की प्रक्रिया संपन्न हो गई थी। ऐसे में संभावना जताई जा रही है कि 6 अगस्त को जिला पंचायत अध्यक्ष के आरक्षण प्रस्ताव का अंतिम प्रकाशन होने के साथ ही राज्य निर्वाचन आयोग को भी सूची भेज दी जाएगी। इसके बाद राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से चुनावी कार्यक्रम तैयार किया जाएगा और फिर इसकी अधिसूचना जारी कर दी जाएगी। ऐसे में राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से अध्यक्ष और प्रमुख पदों के लिए अधिसूचना जारी होते ही आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगी।

उत्तराखंड त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के लिए 21 जून को चुनावी अधिसूचना जारी हुई थी। लेकिन चुनाव का मामला नैनीताल हाई कोर्ट में चले जाने के चलते राजेंद्र वचन आयोग ने 28 जून को संशोधित अधिसूचना जारी की थी। जारी अधिक सूचना के तहत 24 और 28 जुलाई को मतदान की प्रक्रिया संपन्न हुई तो वही, 31 जुलाई को मतगणना की प्रक्रिया शुरू हुई जो एक अगस्त तक चली। पंचायत चुनाव के कुल 66418 पदों के लिए चुनाव हुए। जिसमें सदस्य ग्राम पंचायत के 55587 पदों, प्रधान ग्राम पंचायत के 7499 पदों, सदस्य क्षेत्र पंचायत के 2974 पदों और सदस्य जिला पंचायत के 358 पद शामिल है।

जिला पंचायत अध्यक्ष सीटों पर आरक्षण की अनंतिम सूची……..

• अल्मोड़ा सीट को महिला

• बागेश्वर सीट को महिला अनुसूचित जाति

• चंपावत सीट को अनारक्षित यानी सामान्य

• चमोली सीट को अनारक्षित यानी सामान्य

• देहरादून सीट को महिला

• नैनीताल सीट को अनारक्षित सीट

• पौड़ी गढ़वाल सीट को महिला

• पिथौरागढ़ सीट को अनुसूचित जाति

• रुद्रप्रयाग सीट को महिला

• टिहरी गढ़वाल सीट को महिला

• उधमसिंह नगर सीट को ओबीसी

• उत्तरकाशी सीट को अनारक्षित